यही है मेरी जिंदगी का सबसे खूबसूरत लम्हा ।
जब मैं परीक्षा में प्रथम आया वो लम्हा ।
या फिर जब मुझे ईनाम मिला वो लम्हा ।
जब मैंने आखिरी गेंद पर छक्का मारकर टीम को जीत दिलाई वो लम्हा ।
और जब स्कूल की प्रतियोगिता में जीत कर घर आया वो लम्हा ।
जब माँ ने सिर पर हाथ सहला कर माथे को चूमा वो लम्हा ।
वो जब पापा ने सहारा देकर साईकिल , स्कूटर चलाना सीखाया वो लम्हा ।
या जब मैंने घर का नुकसान किया और माँ-पापा ने पूछा तुझे तो चोट नहीं आई वो लम्हा ।
या किसी लड़की को प्रोपोज़ करने का लम्हा ।
या किसी का प्रोपोज़ कबूल करने का लम्हा ।
या गर्लफ्रेंड से पहली मुलाकात का वो लम्हा ।
या जब मुझे पहली नौकरी मिली वो लम्हा ।
या जब पहली सैलरी अपने माँ-पापा के हाथ में दी वो लम्हा ।
या जब मेरी शादी हुई वो वाला लम्हा ।
या जब एक बच्चे का तोहफा मिला वो लम्हा ।
या फिर जब बच्चे ने पहली बार माँ/पापा कहा वो वाला लम्हा ।
या जब बच्चे ने मेरा नाम रोशन किया वो लम्हा ।
या फिर जब मेरे माता-पिता ने कहा हमारे सारे सपने पूरे कर दिए और कुछ नही चाहिए ये वाला लम्हा ।
या जब मेरे बच्चे की शादी का लम्हा ।
या जब मैं दादा/नाना बना वो लम्हा ।
जब भी ज़िन्दगी ने ख़ुशी दी तो यही मेरी जुबान पर आया ।
यही है मेरी जिंदगी का सबसे खूबसूरत लम्हा ।
इन सब लम्हों को ज़िंदगी ने संजोया, तो क्यों ना ये कहूँ -
" मेरी खूबसूरत जिंदगी " ।